चंडीगढ़, 19 मई 2025 — हरियाणा की समृद्ध लोक संस्कृति को नई पहचान दिलाने और राज्य को फिल्म निर्माण का नया गढ़ बनाने की दिशा में एक और ऐतिहासिक कदम उठाया गया है। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने आज चंडीगढ़ में आयोजित एक भव्य समारोह में 6 फिल्मों के निर्माताओं को कुल 7.5 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन राशि प्रदान की। यह सहायता राज्य की महत्वाकांक्षी “हरियाणा फिल्म नीति” के तहत दी गई है।
मुख्यमंत्री ने समारोह में ‘छलांग’, ‘तेरा क्या होगा लवली’, ‘तेरी मेरी गल बन गई’ और ‘फुफड़ जी’ जैसी फिल्मों को 2-2 करोड़ रुपये, ‘दादा लखमी चंद’ को 1 करोड़ रुपये और ‘1600 मीटर’ को 50.70 लाख रुपये की सहायता दी।
हरियाणा की धरती पर चमकेगा सिनेमा का सितारा
मुख्यमंत्री सैनी ने कहा कि हरियाणा न केवल खेल, सैनिक सेवा और कृषि के लिए प्रसिद्ध है, बल्कि अब यह भारतीय सिनेमा के केंद्र के रूप में उभर रहा है। उन्होंने कहा, “सिनेमा समाज को प्रेरित करने वाला सबसे शक्तिशाली माध्यम है। हम चाहते हैं कि हरियाणवी संस्कृति को न केवल देश में, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी नई पहचान मिले।”
पंचकूला और गुरुग्राम में बनेंगी अत्याधुनिक फिल्म सिटी
सरकार ने राज्य में दो प्रमुख स्थानों पर फिल्म सिटी स्थापित करने की घोषणा की है। पहले चरण में पंचकूला के पिंजौर में 100 एकड़ में फिल्म सिटी बनाई जाएगी, जबकि दूसरे चरण में गुरुग्राम में भूमि चयन की प्रक्रिया जारी है। ये फिल्म सिटी आधुनिक तकनीक, स्टूडियो और पोस्ट-प्रोडक्शन सुविधाओं से युक्त होंगी।
फिल्म नीति से खुले रोजगार और निवेश के द्वार
हरियाणा फिल्म नीति में सिंगल विंडो परमिशन, सब्सिडी, शूटिंग लोकेशन की डिजिटल सूची और पारदर्शी प्रक्रिया को प्राथमिकता दी गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इससे न केवल फिल्म निर्माताओं को सुविधा मिलेगी, बल्कि राज्य में हजारों युवाओं को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार भी मिलेगा।
“जितना हरियाणवी होंगे, उतना इंटरनेशनल बनेंगे” – मीता वशिष्ठ
गवर्निंग काउंसिल की चेयरपर्सन और प्रसिद्ध अभिनेत्री मीता वशिष्ठ ने कहा, “हरियाणा की कहानियों में अपार शक्ति है। हमें अपनी जड़ों से जुड़ना होगा। जितना हम हरियाणवी होंगे, उतना ही हमारी पहचान वैश्विक होगी।” उन्होंने गांवों और शहरों में सिंगल स्क्रीन थिएटर फिर से शुरू करने की भी मांग की।
फिल्म शिक्षा और थिएटर को मिलेगा बढ़ावा
हरियाणा सरकार सुपवा यूनिवर्सिटी के माध्यम से राज्य के सभी विश्वविद्यालयों में फिल्म निर्माण से संबंधित पाठ्यक्रम शुरू करेगी। साथ ही, स्कूलों में थिएटर एजुकेशन को अनिवार्य करने की योजना भी बनाई गई है।
हरियाणा बनेगा भारत का अगला फिल्म हब
सूचना एवं जन संपर्क विभाग के महानिदेशक के. मकरंद पांडुरंग ने कहा कि हरियाणा में न केवल खूबसूरत लोकेशन्स हैं, बल्कि यहां प्रतिभा की कोई कमी नहीं है। “हमारी फिल्म नीति का उद्देश्य हरियाणा को शूटिंग के लिए सबसे पसंदीदा राज्य बनाना है।”